हैदराबाद : दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रोफ़ेसर एस ए आर गिलानी ने आज दावा किया कि कट्टरपंथी हुर्रियत नेता सैयद अली शाह गिलानी, लेखिका अरुंधति राय और अन्य के खिलाफ़ कश्मीर पर टिप्पणी के मामले में राजद्रोह का मुकदमा चलाने की मांग असली मुद्दे से ध्यान भटकाने का प्रयास है. नक्सलियों से सहानुभूति रखने वाले वारवरा राव के साथ एक संवाददाता सम्मेलन में 2001 में संसद हमला मामले में बरी हुए गिलानी ने कहा, ‘‘यह कश्मीर मुद्दे के बारे में लोगों की अनभिज्ञता का नतीजा है और ऐसे लोग असली मुद्दे से ध्यान भटकाने की कोशिश कर रहे हैं.’’ हुर्रियत नेता और राव के अलावा दिल्ली की एक अदालत ने एक याचिका पर सुनवाई के बाद कल एसएआर गिलानी और चार अन्य के खिलाफ़ मामला दर्ज कराने का आदेश जारी किया था. याचिका में आरोप लगाया गया कि उन्होंने 21 अक्तूबर को दिल्ली में आयोजित एक सम्मेलन में भारत विरोधी भाषण दिये थे. गिलानी ने कहा, ‘‘अगर लोग कश्मीर मुद्दे की सचाई के बारे में जान जाएंगे तो कोई भी उन लोगों के खिलाफ़ राजद्रोह का मुकदमा चलाने की मांग नहीं करेगा जो आत्मनिर्णय के लिए मांग कर रहे हैं.''
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